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Showing posts from April 29, 2022

मानसिक मंदित 115 बच्चो को डीएम द्वारा एम आर किट वितरित

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जौनपुर। कलेक्ट्रेट स्थित सभागार में शुक्रवार को दिव्यांगजनों को सहायक उपकरण वितरण का आयोजन किया गया।  उक्त अवसर पर जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा, जिला दिव्यांगजन सशक्तीकरण अधिकारी सुश्री दिव्या शुक्ला एवं जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के अधीनस्त कार्यरत समस्त विकास खण्ड के आई.टी. टीचर्स की उपस्थिति में कुल 115 मानसिक मंदित बच्चों को एम0आर0किट एवं 05 दृष्टिबाधित बच्चों को स्मार्टकेन का वितरण किया गया।   इस अवसर पर जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा ने कहा कि इस उपकरण के माध्यम से बच्चों के दैनिक दिनचर्या, सहज, सरल और सुगम होने के साथ पठन-पाठन में भी सहयोग मिलेगा। उन्होंने कहा हम सभी को इन बच्चों की देख-भाल और सहयोग की आवश्यकता है। हमारे सहयोग से ये बच्चें समाज की मुख्यधारा में अपनी भुमिका निभायेंगे,जिससे एक मजबूत भारत बनेगा। उक्त अवसर पर दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के सभी कर्मचारी एवं सभी आई0टी0 टीचर्स उपस्थित रहे।

नामांकन के साथ छात्रों का ठहराव भी हो सुनिश्चित - बीएसए

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जौनपुर । स्कूल चलो अभियान तथा सत्र 2022-23 में शत प्रतिशत नामांकन के तहत शुक्रवार को इंगलिश मीडियम प्राइमरी स्कूल चकताली सिरकोनी में स्कूल चलो रैली का आयोजन किया गया। बतौर मुख्य अतिथि जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी डॉ गोरख नाथ पटेल ने कहा कि सभी बच्चों का स्कूल में नामांकन करने के साथ ही उनका विद्यालय में ठहराव भी सुनिश्चित होना चाहिए। उन्होंने अभिभावकों को प्रेरित करते हुए कहा कि मैं भी एक किसान का बेटा हूं। शिक्षा की ही बदौलत आज इस पद पर पहुंचा हूं। खण्ड शिक्षाधिकारी शशांक सिंह ने कहा कि यह शिक्षकों की मेहनत का परिणाम है कि सिरकोनी ब्लाक अपने लक्ष्य के प्राप्ति की ओर है। लेकिन हमें यहीं रुकना नहीं है बल्कि कोई बच्चा छूटने न पाए इसलिए प्रयास करते रहना है। प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष अरविंद शुक्ला ने अपने सारगर्भित संबोधन में शिक्षकों के भगीरथ प्रयास की सराहना करते हुए कहा कि परिषदीय विद्यालयों में योग्यतम शिक्षक दबे कुचले पिछड़े परिवारों के बच्चों का जीवन संवारने का काम कर रहे हैं। जिला समन्वयक (प्रशिक्षण) सुरेश चंद्र पांडेय ने कहा कि मनुष्य अगर ठान ले तो कोई

अपनी शक्तियों को पहचानने से मिलती है कारपोरेट में सफलता : प्रो.एस के.सिन्हा

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व्यक्तित्व विकास में सहायक है अभिप्रेरणा के सिद्धांत : डॉ रचना श्रीवास्तव  जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय वित्तीय अध्ययन विभाग में एक दिवसीय विशिष्ट व्याख्यान कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमें चौधरी रणवीर सिंह विश्वविद्यालय, जींद, हरियाणा से आए संकाय अध्यक्ष, वाणिज्य व प्रबंध संकाय प्रोफेसर एस के सिन्हा ने वित्तीय अध्ययन विभाग के छात्रों को कारपोरेट में कैसे खुद को सफल बनाना है इसका मूल मंत्र छात्रों से साझा किया। प्रोफेसर सिन्हा ने कहा कि डायरी लेखन सफलता के लिए बहुत जरूरी है इससे हमें अपना दिन व्यवस्थित करने में मदद मिलती है और एक प्रबंधक के लिए ये बहुत जरूरी है। प्रो सिन्हा ने स्वाट एनालिसिस के बारे में बताया कि अपनी शक्तियों और कमजोरियों को पहचानने से कारपोरेट में सफलता मिलने का ज्यादा अवसर मिलता है। प्रो सिन्हा ने पी यू की मुखिया कुलपति प्रो. निर्मला एस. मौर्य के संवेदनशील नेतृत्व का उदाहरण छात्रों को दिया। सहायक आचार्य , चौधरी रणवीर सिंह विश्वविद्यालय जींद , हरियाणा ने डॉ रचना श्रीवास्तव , भी छात्रों को व्यक्तित्व विकास और अभिप्रेरणा के सिद्धांत स

शिवपाल और अखिलेश के बीच बढ़ रही दूरियां कहीं यूपी में एक नया मोर्चा बनाने की तैयारी तो नहीं ?

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सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और शिवपाल यादव के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। चाचा-भतीजे की इस जंग से प्रदेश की सियासत में हलचल मची है। सपा के शीर्ष नेतृत्व की अनदेखी से नाराज तमाम नेता आजम खां के बहाने बगावती तेवर अपनाए हुए हैं। ऐसे में 2024 लोकसभा चुनाव के दौरान प्रदेश की सियासत में एक नया मोर्चा आकार लेता नजर आ रहा है। इस मोर्चे में कई छोटे दल भी शामिल हो सकते हैं। यदि शिवपाल भाजपा में शामिल नहीं हुए तो इस मोर्चे के अगुआ हो सकते हैं। शिवपाल अब सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव पर भी हमलावर हो गए हैं। हमेशा नेताजी (मुलायम सिंह) की दुहाई देने वाले शिवपाल आजम खां के बहाने उन पर हमला बोल रहे हैं। यह पहली बार हुआ है। पार्टी बनाने की बात रही हो अथवा समाजवादी परिवर्तन रथयात्रा स्थगित करने की, हर बार शिवपाल ने यही कहा कि वे नेताजी के आदेश का पालन कर रहे हैं। पहली बार उन्होंने इटावा में रहकर कहा कि नेताजी अगर आवाज उठाते तो आजम खां जेल से बाहर होते।  प्रदेश की सियासत में दखल रखने वालों का कहना है कि शिवपाल की दुहाई के पीछे एक तरफ मुस्लिम वोटबैंक की हमदर्दी है तो दूसरी तरफ सपा नेतृ

डीएम की रिपोर्ट पर जिला अस्पताल के दो डाक्टरो पर गिरी गाज हुए निलंबित, अस्पताल में हड़कंप

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जौनपुर। शहीद उमानाथ सिंह जिला अस्पताल में तैनात दो डॉक्टरों की अनुपस्थित के खिलाफ जिलाधिकरी की एक रिपोर्ट को आधार मानते हुए गुरुवार रात निलंबित कर दिया गया। इसकी जानकारी मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से ट्वीट कर दी गई है। निलंबन की खबर जिला अस्पताल में पहुंचते ही खलबली मच गई। निलंबित किए दोनों डॉक्टर लंबे समय से बिना जानकारी के अनुपस्थित चल रहे थे।  शहीद उमानाथ सिंह जिला अस्पताल में तैनात पैथालॉजिस्ट डॉक्टर सत्येंद्र कौशल सिंह और इमरजेन्सी के डॉक्टर डीपी सिंह वर्ष 2021 से ही बिना जानकारी के अनुपस्थित चल रहे थे। इसकी रिपोर्ट सीएमएस की ओर से शासन को भेजी गई थी।लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई थी।  शहीद उमानाथ सिंह जिला अस्पताल में व्याप्त खामियों को लेकर खबरें लगातार अखबारो और शोसल मीडिया पर वायरल हो रही थी। जिसे संज्ञान में लेते हुए जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा ने अस्पताल का औचक निरीक्षण किया था। इस दौरान जिला अस्पताल के कई चिकित्सक अनुपस्थित मिले थे। डीएम ने अनुपस्थित डॉक्टर के बारे में पूछताछ की। डॉक्टर की अनुपस्थिति के संबंध में सीएमएस अनिल शर्मा ने बताया था कि कुछ डॉक

151 निकायों में होगा नये सिरे से परिसीमन, इन जिलो में बढ़ेगे वार्डो की संख्या,शासनादेश जारी

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  यूपी के 151 निकायों में नए सिरे से परिसीमन होगा। इसके बाद वहां वार्डों की संख्या बढ़ जाएंगी। इस संबंध में शासनादेश जारी कर दिया गया है। नगर विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव नगर विकास रजनीश दुबे के अनुसार जिलाधिकारियों को भेजे निर्देश में पांच मई तक वार्डों का गठन कर जानकारी निदेशालय को देने के लिए कहा है। वार्ड बनाने का प्रस्ताव वर्ष 2011 की आबादी के आधार पर गणना करते हुए किया जाएगा। इसमें 56 जिलों के 151 निकाय शामिल होंगे। नए 86 निकायों में नगर पंचायत 83, पालिका परिषद दो और नगर निगम एक हैं। सीमा विस्तार वाले 66 निकायों में नगर पंचायत 36, पालिका परिषद 21 व नगर निगम 9 हैं। इसके लिए नए सिरे से परिसीमन करते हुए वार्डों का गठन करना होगा। स्थानीय निकाय निदेशालय जिलों से मिलने वाले प्रस्तावों के आधार पर इसकी अनंतिम अधिसूचना जारी कराते हुए इस पर आपत्तियां मांगने के बाद इसका अंतिम प्रकाशन कराएगा। इन जिलों में होगा वार्ड गठन जालौन, ललितपुर, शाहजहांपुर, बदायूं, पीलीभीत, बस्ती, कुशीनगर, महराजगंज, सिद्धार्थनगर, संतकबीरनगर, देवरिया, कानपुर देहात, कन्नौज, फर्रुखाबाद, मुरादाबाद