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अगस्त 7, 2020 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

शोसल डिस्टेन्सिंग का पालन न करने वाली पांच दुकानो पर एक सप्ताह के लिए लगा ताला

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जौनपुर। शासन की गाइड लाइन का पालन न करने एवं सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाने वाले पांच और दुकानदारों के खिलाफ जिलाधिकारी ने आज फिर कार्रवाई किया है सभी दुकानों को एक सप्ताह के लिए बंद रखने और पांच पांच सौ रूपये जुर्माना भरने का आदेश दिया है।  डीएम द्वारा जारी विज्ञप्ति में बताया गया है कि आज कोतवाली से लेकर चहारसू तक वीडियों सर्विलांस के माध्यम से जांच कराया गया कोठी घनश्यामदास बैंकर,विश्वनाथ प्रसाद सेठ,सत्यनारायण स्वीट्स, विष्णु कुमार किराना स्टोर और दानिश जनरल स्टोर द्वारा वगैर मास्क का प्रयोग किये तथा सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नही किया जा रहा था।  इन सभी पांच दुकानदारो को 14 अगस्त तक अपनी दुकानो को बंद रखने का आदेश दिया गया है तथा सभी पर पांच पांच सौ रूपये अर्थदण्ड लगाया गया है। 

लम्बित मामलों में पत्र व्यवहार तक सीमित न रहे अधिकारी वार्ता कर निस्तारण में तेजी लाये - अवनीश अवस्थी

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 लखनऊः अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने कहा लम्बित एवं डिफाल्टर प्रकरणों के निस्तारण के लिए सिर्फ पत्र व्यवहार न करते हुए जनपदों के सम्बन्धित अधिकारियों से दूरभाष के माध्यम से भी प्रकरणों का निस्तारण कराना सुनिश्चित किया जाए। बैठक में बताया गया कि कुल 19 हजार 190 प्रकरणों में से 17 हजार 617 प्रकरणों को निस्तारित किया जा चुका है तथा अवशेष प्रकरणों का निस्तारण अतिशीघ्र कर लिया जायेगा। आईजीआरएस एवं सीएम हेल्पलाईन के लम्बित एवं डिफाल्टर प्रकरणों, आदि पर की जा रही कार्यवाहियों की समीक्षा गृह विभाग के सचिव एवं विशेष सचिवगणों व सम्बन्धित कर्मचारीगणों के साथ की। कहा गया है कि आईजीआरएस एवं सीएम हेल्पलाईन के लम्बित एवं डिफाल्टर प्रकरणों को प्राथमिकता के आधार पर निस्तारित करने की कार्यवाही की जाए। अपर मुख्य सचिव, गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने आज लोकभवन स्थित अपने सभाकक्ष में आईजीआरएस की साप्ताहिक समीक्षा बैठक की। साथ ही गृह विभाग के अधिकारियों को यह निर्देश भी दिये कि प्रकरणों को बेवजह अपने स्तर पर लम्बित न रखा जाए बल्कि उसे समयबद्ध रूप से निस्तारित किया जाए। अपर मुख्य

प्रत्येक दशा में ओवर ब्रिज 31 दिसम्बर 20 तक चालू कराये - डीएम जौनपुर

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जौनपुर। जौनपुर मिर्जापुर मार्ग पर स्थित सिटी स्टेशन के पास निर्माणाधीन ओवर ब्रिज का निरीक्षण करते हुए जिलाधिकारी ने आदेश दिया कि किसी भी दशा में पुल को 31 दिसम्बर 2020 तक पूरा करते हुए इसे चालू किया जाये। यहाँ बतादे कि  निर्माणाधीन पुल की कुल स्वीकृत लागत 67.22 करोड़ है। अभी  तक 68.87 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो सका है। जिस पर जिलाधिकारी ने नाराज़गी जताया।  आर.ई. वाल के निर्माण हेतु वन विभाग द्वारा लगाया गया रुपये 80,000 का जुर्माना कार्यदायी संस्था उत्तर प्रदेश राज्य सेतु निगम, सेतु निर्माण इकाई जौनपुर द्वारा जमा कर दिया गया है। मौके पर आर.ई. वाल निर्माण स्थल खाली पाया गया। वन विभाग द्वारा पुनः आपत्ति आयी है। जिलाधिकारी ने परियोजना प्रबंधक जयप्रकाश गुप्ता को निर्देशित किया कि आपत्ति का निस्तारण कराकर तत्काल कार्य प्रारंभ करें तथा 31 दिसंबर 2020 तक प्रत्येक दशा में पुल का निर्माण पूर्ण कराना सुनिश्चित करें, इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता क्षम्य नहीं होगी।

सह मात के खेल में पुलिस ने पूर्व सांसद धनन्जय सिंह को दे दी मात,अधर में लटकी जमानत याचिका

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जौनपुर। जिले में  नमामि गंगे के प्रोजेक्ट मैनेजर  अभिनव सिंघल के द्वारा थाना लाईन बाजार में बाहुबली नेता एवं पूर्व सांसद धनन्जय सिंह तथा उनके साथी विक्रम सिंह के खिलाफ दर्ज करायी गयी एफ आई आर और जमानत को लेकर पुलिस एवं अभियुक्त के बीच चल रहे सह मात के खेल में पुलिस ने अभियुक्त को ऐसी मात दिया है कि जमानत याचिका लटक गयी अब न्यायालय में परीक्षण शुरू हो जायेगा और घटना के बाबत गुण दोष के आधार पर न्यायाधीश अपना निर्णय देंगे। परीक्षण शुरू होने पर जमानत पर न्यायालय विचार नहीं करती है। पुलिस ने इस मामले में न्यायालय में अपनी चार्जशीट दाखिल कर दिया । इसके बाद जमानत का मामला गम्भीर हो गया है।  यहाँ बतादे कि कि विगत माह 10 मई 20 को नामामि गंगे के प्रोजेक्ट मैनेजर अभिनव सिंघल ने थाना लाईन बाजार में धनन्जय सिंह और उनके साथी विक्रम सिंह के खिलाफ मुकदमा लिखाया था कि उसका अपहरण करते हुए असलहे के दम पर उससे रंगदारी मांगी गई थी। पुलिस ने मुकदमा पंजीकृत करने के तत्काल बाद रात्रि में ही दबिश देकर बाहुबली नेता एवं पूर्व सांसद धनन्जय सिंह तथा उनके साथी विक्रम सिंह को उनके आवास से गिरफ्तार कर जेल

प्रदेश में संचालित सभी बोर्ड के छात्रों की विगत चार माह की फीस हो माफ- फैसल हसन

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जौनपुर । जिला एवं शहर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गण फैसल हसन तबरेज एवं सौरव शुक्ला के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू जी के निर्देश पर जिलाधिकारी जौनपुर के माध्यम से छः सूत्री मांग का ज्ञापन महामहिम राज्यपाल उत्तर प्रदेश को भेजा गया। कलेक्ट्रेट परिसर में जोरदार नारेबाजी के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने प्रदेश में संचालित यूपी बोर्ड, सीबीएसई बोर्ड व आईसीएसीई  बोर्ड एवं अन्य बोर्डो के छात्रों की विगत 4 माह की फीस माफ की जाए।इन शिक्षण संस्थान में कार्यरत मान्यता व गैर मान्यता प्राप्त शिक्षकों एवं कर्मचारियों को सरकार से कम से कम आठ हजार रुपए प्रतिमाह सहायता प्रदान की जाए। नये वर्ष के पाठ्यपुस्तकों में बदलाव न किया जाए। उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य में स्थित विभिन्न न्यायालयों में लाखों की संख्या में प्रैक्टिस कर रहे वकीलों की आमदनी इस कोविड-19 महामारी में लॉकडाउन के चलते नगण्य हो गई है,अतः उन्हें सरकार द्वारा कम से कम दस हजार रूपये प्रति महीने के हिसाब से सहयोग राशि मानदेय के रूप में प्रदान की जाय। मध्यमवर्ग के वह परिवार जिन्हें न तो प्रधानम

बसपा ने प्रवासी को मल्हनी विधानसभा का बनाया प्रभारी,बसपाई दिग्गज है नाराज,क्या पार्टी को जीत का स्वाद चखा सकेंगे ?

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 जौनपुर । उप चुनाव से दूर रहने वाली बहुजन समाज पार्टी जनपद जौनपुर के मल्हनी विधानसभा के लिये होने वाले उप चुनाव में जंग करने का निर्णय लेते हुए ऐसे व्यक्ति को जिम्मेदारी दी है जो इस विधानसभा के लिये हर नजरिए से प्रवासी है। जिसकी जिले में न कोई राजनैतिक हैसियत है, न ही कोई राजनैतिक पहचान है खुद इस विधानसभा के दिग्गज बसपाई भी अपने नेता के फैसले से नाराज हैं।  अब यहाँ सवाल उठता है कि क्या ऐसा व्यक्ति बसपा को जीत का स्वाद चखा सकेगा यह एक गम्भीर सवाल है ?  यहाँ बतादे कि जनपद जौनपुर की मल्हनी विधानसभा अब तक सपा के कब्जे में रही है यहाँ से सपा के दिग्गज नेता स्व. पारस नाथ यादव  विधायक होते रहे है। उनके निधनोपरान्त अब इस विधानसभा क्षेत्र के लिए उप चुनाव होना है। हलांकि निर्वाचन आयोग से अभी तक चुनाव की हरी झंडी नहीं मिली है। यहां एक बात स्पष्ट कर दे कि किसी भी विधान सभा क्षेत्र में चुनाव लड़ने के लिए बसपा पहले प्रभारी बनाती है बाद में उसे बतौर प्रत्याशी चुनाव में उतारने का फार्मूला बना रखी है।  अपने इसी फार्मूले के तहत जौनपुर के मल्हनी विधानसभा क्षेत्र का प्रभारी मनोज सिंह सोमवंशी म

अपर जिला मजिस्ट्रेट का आदेश जनपद के 35 बदमाश हुए जिला बदर

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जौनपुर। अपर जिला मजिस्ट्रेट ने आज एक आदेश जारी करते हुए जनपद के 35 अपराधियों को जिला बदर का हुक्म दिया है। अब सभी अपराधी आगामी 6 माह तक जौनपुर के अन्दर नजर नहीं आयेगे। आदेश का अनुपालन करने का दायित्व जिले के सभी थाना प्रणालियों को दिया गया है।  सरकारी सूचना के अनुसार जिले के हुक्मरानों ने बढ़ते अपराध को दृष्टिगत रखते हुए सभी अपराधियों के खिलाफ चल रहे गुण्डा एक्ट के मुकदमे को तेजी से सुनवाई कर निर्णय लिया है कि सभी बदमाशो को जिला बदर कर दिया जाये। इस प्रक्रिया के तहत 35 अपराधियों को जिला बदर का आदेश दिया गया है  निर्धारित समय तक न इस जनपद में रह सकते है  नहीं उनका आना जाना भी हो सकेगा अपने आदेश में अपर जिला मजिस्ट्रेट ने जनता से अपील भी किया है कि जिला बदर किये गये लोग अगर दिखाईं दे तो  तत्काल पुलिस को सूचित किया जाये ।साथ ही सभी सम्बधित थानेदारो को स्पष्ट आदेश दिया गया है कि यदि जिला बदर व्यक्ति उनके क्षेत्र में दिखाई दे तो तत्काल विधिक कार्यवाही की जाये। जिला बदर अपराधियों की सूची थाना वार सभी थानों को भेज दी गयी है।  जिला मजिस्ट्रेट के इस आदेश से जनपद से जिला बदर हुए अपरा

जीसी मुर्मू देश के नये सीएजी नियुक्त, लेगे राजीव महर्षि का स्थान

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जम्मू और कश्मीर के पूर्व उपराज्यपाल गिरीश चंद्र मुर्मू को देश का नया सीएजी (Comptroller and Auditor General of India) नियुक्त किया गया है। केंद्र सरकार ने गुरुवार को इसका नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। गिरीश चंद्र मुर्मू राजीव महर्षि की जगह कार्यभार संभालेंगे। राजीव महर्षि को साल 2017 में सीएजी बनाया गया था। उनका कार्यकाल तीन साल का रहा है। 60 साल के गिरीश चंद्र मुर्मू 1985 बैच के गुजरात कैडर के आईएएस अधिकारी हैं। जीसी मुर्मू केंद्र शासित प्रदेश बने जम्मू-कश्मीर के पहले उपराज्यपाल बने थे। जीसी मुर्मू ने 31 अक्टूबर, 2019 को जम्मू-कश्मीर के पहले एलजी के रूप में कार्यभार ग्रहण किया था। 9 महीने के कार्यकाल के बाद उन्होंने बुधवार को इस्तीफा दे दिया था। ओडिशा के सुंदरगढ़ के रहने वाले हैं गिरीश चंद्र मुर्मू । उन्होंने यूनिवर्सिटी ऑफ बर्मिंघम से एमबीए की डिग्री हासिल की है। जम्मू और कश्मीर का उपराज्यपाल बनने के पहले जीसी मुर्मू वित्त विभाग में व्यय विभाग के सचिव पद पर तैनात थे। जीसी मुर्मू को नरेंद्र मोदी के बेहद करीबी अधिकारियों में गिना जाता है। नरेंद्र मोदी के गुजरात में म

योगी जी आपकी पुलिस एक माह बाद भी अधिकारी मणि मंजरी के कातिलो को जेल नहीं पहुंचा सकी

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 बलिया: मनियर नगर पंचायत की अधिशासी अधिकारी मणि मंजरी की मौत के एक महीने बाद भी नगर पंचायत अध्यक्ष भीम गुप्ता व अन्य आरोपी पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ सके हैं। नगर पंचायत अध्यक्ष के फरार होने के मद्देनजर प्रदेश शासन ने नगर पंचायत मनियर के प्रशासनिक व वित्तीय कार्यों का संचालन करने के लिए उपजिलाधिकारी बांसडीह दुष्यंत कुमार मौर्य को प्रशासक नियुक्त किया है। मनियर नगर पंचायत की अधिशासी अधिकारी मणि मंजरी की मौत को एक माह पूरे हो गए। मणि मंजरी राय ने गत 6 जुलाई की रात्रि बलिया शहर में स्थित आवास पर फांसी लगाकर आत्महत्या की थी। मणि मंजरी ने मौत के समय एक सुसाइड नोट छोड़ा था जिस पर लिखा था ‘ सॉरी भैया, सॉरी मम्मी-पापा। दिल्ली बनारस हर जगह से खुद को संभालकर आ गई। लेकिन यहां आकर मेरे साथ बहुत छलावा हुआ। मुझे फंसाया गया पूरी रणनीति के तहत। मुझे माफ कर दीजिए। गाजीपुर जिले के भांवरकोल थाना क्षेत्र के कनुवान ग्राम के रहने वाले विजया नन्द राय ने घटना के दो दिन बाद बलिया शहर कोतवाली में भारतीय दंड विधान की धारा 306 ( आत्महत्या करने के लिए प्रेरित करना ) में मनियर नगर पंचायत अध्यक्ष