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Showing posts from October 28, 2023

पर्यावरण के विषाक्त पदार्थ को नियंत्रित कर सकते हैं सूक्ष्म जीव और पौधेः प्रो. प्रत्यूष शुक्ला

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दीक्षांत समारोह के प्री दीक्षांत सप्ताहांत के अंतर्गत हुआ व्याख्यान का आयोजन जौनपुर। प्रदेश की महामहिम राज्यपाल एवं कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल एवं विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. वंदना सिंह की प्रेरणा से व्याख्यानमाला श्रृंखला के कड़ी में  28 अक्टूबर शनिवार को परिसर के संकाय भवन में बनारस हिंदू विश्वविद्यालय  बायोटेक्नोलॉजी विभाग के विभागाध्यक्ष एवं कोऑर्डिनेटर प्रोफेसर प्रत्यूष शुक्ला का व्याख्यान हुआ । इस अवसर पर प्रोफेसर शुक्ला ने कंप्यूटेशनल टूल्स के माध्यम से कैसे हम पर्यावरण में प्रदूषकों की सांद्रता या विषाक्त प्रभाव को कम करने के बारे में विस्तार से प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि वर्तमान परिस्थितियों में तकनीक के विकसित होने से आज कंप्यूटेशनल टूल के माध्यम से सूक्ष्म जीवों के जीन को एडिटिंग करके डिजाइनर सूक्ष्मजीव बनाए जा सकते हैं जिनका प्रयोग विषाक्त पदार्थ के प्रभाव को नियंत्रण में किया जा सकता है। कैडमियम, क्रोमियम, सीसा, एल्युमीनियम, आर्सेनिक और एंटीमनी जैसी भारी धातुओं से दूषित मिट्टी वाली जगहों पर इस तकनीक की तेजी से जांच और उपयोग किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि आन

घूसखोर लेखपाल को एनटी करप्शन टीम ने रंगेहाथ किया गिरफ्तार कर भेजा जेल, जानें किस काम के नाम पर लिया था घूस

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अक्सर घूस लेते लेखपाल गिरफ्तार हो रहे है इसके बाद भी घूस लिए बगैर काम करने को लेखपाल सायद तैयार नहीं है। ताजा मामला जनपद वाराणसी के सदर तहसील के कमौली क्षेत्र का है यहां पर चकबंदी लेखपाल वीरेंद्र प्रताप चतुर्वेदी को हुकुलगंज में 10 हजार रुपये घूस लेते हुए भ्रष्टाचार निवारण संगठन की वाराणसी इकाई ने गिरफ्तार किया। गिरफ्तार लेखपाल के खिलाफ सिगरा थाने में मुकदमा दर्ज करा कर उसे पुलिस को सौंप दिया गया। आरोपी वीरेंद्र मूल रूप से गाजीपुर जिले के मरदह थाना क्षेत्र के हरहरी गांव का रहने वाला है। चौबेपुर थाना के कमौली गांव निवासी चंद्रजीत यादव को अपनी पैतृक जमीन को चक आउट कराने के लिए चकबंदी लेखपाल वीरेंद्र प्रताप चतुर्वेदी से रिपोर्ट लगवानी थी। आरोप है कि रिपोर्ट लगाने के लिए चंद्रजीत से वीरेंद्र 10 हजार रुपये की मांग कर रहा था। रुपये न देने पर रिपोर्ट न लगाने की बात कह रहा था। इससे परेशान होकर चंद्रजीत यादव ने भ्रष्टाचार निवारण संगठन की वाराणसी इकाई से संपर्क किया। भ्रष्टाचार निवारण संगठन की टीम ने चंद्रजीत को 10 हजार रुपये के नोट पर केमिकल लगाकर दिया। इसके साथ ही बृहस्पतिवार की दो

प्राइवेट अस्पताल संचालक को बदमाशो ने मारी गोली, घायल अस्पताल में भर्ती पुलिस जांच पड़ताल में जुटी

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जनपद बहराइच स्थित शहर में एक निजी अस्पताल का संचालन कर रहे संचालक पर दिनदहाड़े बाइक सवार बदमाशो ने फायरिंग की। अस्पताल संचालक के पैर में गोली लगी है जिससे वह गंभीर रूप से जख्मी हुए हैं। शनिवार सुबह फायरिंग की पूरी घटना पास में लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई है। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर जांच शुरू कर दी है। सीसीटीवी फुटेज भी कब्जे में ली है। उन्हें जख्मी हालत में जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। शहर के निवासी विनीत सिंह शहर में ही एक निजी अस्पताल का संचालन करते हैं। शनिवार सुबह विनीत सिंह बाइक से घर से किसी आवश्यक कार्य से निकले थे। अस्पताल संचालक विनीत जब जिला अस्पताल चौराहे के निकट पहुंचे तो लघु शंका के लिए उन्होंने बाइक सड़क के किनारे खड़ी कर दी। विनीत जब लघु शंका कर रहे थे उसी दौरान एक बाइक पर पीछे से आए दो युवकों ने उन पर गोलियां बरसाना शुरू कर दीं। पहली गोली चलने पर विनीत जान नहीं पाए फिर जब पीछे मुड़े तो अपने ऊपर फायरिंग होते देख शोर मचाते हुए भागने लगे। भागते समय एक गोली विनीत के पैर में लगी, जिससे वह लहूलुहान हो गए। फायरिंग और विनीत की चीख-पुकार पर आसपास के लोग

बहू को जिन्दा जलाकर मारने वाली सास, ननद, देवरानी को आजीवन कारावास की सजा,जानें घटना और कहांनी

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जौनपुर। अपर सत्र न्यायाधीश चतुर्थ मो. शारिक सिद्दीकी ने दहेज की मांग को लेकर विवाहिता की जलाकर हत्या करने के मामले में दोषी सास, ननद व देवरानी को आजीवन कारावास एवं प्रत्येक को 10,000 रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। घटना की प्राथमिकी मृतका के पिता मोतीलाल ने चंदवक थाने में दर्ज कराया था। आरोप लगाया था कि उसने अपनी पुत्री प्रीति का विवाह 24 जून 2012 को गुड्डू निवासी ग्राम बगेरवां थाना चंदवक से किया था। विवाह के बाद ससुराल वाले दहेज में 50 हजार रुपये व बाइक की मांग को लेकर प्रीति को प्रताड़ित करते थे। 25 जून 2017 को रात नौ बजे प्रीति ने फोन कर बताया कि ससुराल वाले दहेज की मांग को लेकर बुरी तरह मारपीट रहे हैं। अब मेरा जिंदा बचना मुश्किल है। बात करते-करते फोन कट गया। बाद में मोबाइल बंद हो गया। 26 जून 2017 को सुबह छह बजे किसी अज्ञात व्यक्ति ने फोन कर प्रीति के पिता को बताया कि ससुराल वाले दहेज की मांग को लेकर प्रीति को जला दिए हैं। गांव वाले उसे इलाज के लिए जिला चिकित्सालय ले गए हैं। वहां पहुंचने पर प्रीति ने बताया कि ससुराल वाले मिट्टी का तेल छिड़क कर जला दिए हैं। इलाज