स्टूडेंट्स को हुनरमंद बनाने के लिए अशोका इंस्टीट्यूट ने पूर्वांचल के बड़े कारखानों में दिया प्रैक्टिकल एक्सपोजर


वाराणसी। अशोका इंस्टीट्यूट आफ टेक्नालाजी एंड मैनेजमेंट ने अपने स्टूडेंट्स को हुनरमंद बनाने के लिए पूर्वांचल के कई प्रमुख कारखानों का भ्रमण कराया और इंडस्ट्रियल एक्सपोजर देने के लिए काम की बारीकियां सिखाईं। अशोक इंस्टीट्यूट उत्तर भारत का ऐसा संस्थान है जो स्टूडेंट्स को न सिर्फ बेहतरीन शिक्षा देता है, बल्कि प्रमुख औद्योगिक इकाइयों का भ्रमण भी कराता है जिससे वो बेहतरीन टेक्नोक्रेट बनने के लिए वर्क कल्चर को समझ सकें।
बनारस रेल इंजन कारखाना (बरेका) की महाप्रबंधक अंजली गोयल की पहल पर अशोका इंस्टीट्यूट के स्टूडेंट्स को औद्योगिक एक्सपोजर देने के लिए बारीकियां सिखाई गईं। बरेका के अंदर लोको असेंबली, रेल इंजन निर्माण के अलावा मशीनरी और प्लांट के बारे में व्यावहारिक ज्ञान दिया गया। संस्थान के अभियंताओं ने स्टूडेंट्स को शाप भ्रमण कराया और पावर प्वाइंट प्रजेंटेशन के माध्यम से रेल इंजन के निर्माण से लेकर उन्हें पटरी पर उतारे जाने तक के प्रोसेस के बारे में विस्तार से जानकारी दी।
बरेका की महाप्रबंधक अंजली गोयल ने अशोका इंस्टीट्यूट के स्टूडेंट्स को संबोधित करते हुए कहा कि इंडस्ट्रियल एक्सपोजर स्टूडेंट्स के लिए मील का पत्थर साबित होगा। पीएम नरेंद्र मोदी के संकल्प को बुनियादी आधार देने के लिए इंजीनियरिंग स्टूडेंट्स को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इस प्रशिक्षण से स्टूडेंट्स में कौशल विकास और उद्यमिता विकास के प्रति नया नजरिया विकसित होगा। इंडस्ट्रियल एक्सपोजर अभियान में शामिल अशोका इंस्टीट्यूट के स्टूडेंट्स की सराहना करते हुए सुश्री गोयल ने कहा कि ये बच्चे भविष्य में सजग और काबिल इंजीनियर बनेंगे। इंस्टीट्यूट की निदेशक सारिका श्रीवास्तव ने स्टूडेंट्स का मार्गदर्शन करने वाले बरेका इंजीनियर्स और प्रशिक्षकों का आभार व्यक्त किया।
अशोका इंजीनियरिंग कॉलेज के ट्रेनिंग एवं प्लेसमेंट विभाग के प्रमुख ओपी शर्मा के निर्देशन में इलेक्ट्रिकल विभाग की तरफ से अंतिम वर्ष के छात्रों को ओबरा थर्मल पावर प्लांट का औद्योगिक भ्रमण कराया गया। इस दौरान विद्युत जेनरेटर, कोयला प्लांट, सेंट्रल कंट्रोल रूम, स्टीम टरबाइन, ट्रांसफार्मर एवं स्विच यार्ड, टोटल पावर जेनरेशन आदि की जानकारी दी गई। स्टूडेंट्स को यह भी बताया गया कि बिजली का उत्पादन कैसे होता है और पारेषण लाइनों के जरिए आपूर्ति कैसे की जाती है? ओबरा थर्मल पावर कंपनी के सीजीएम दीपक कुमार ने अशोका इंस्टीट्यूट के बच्चों को विद्युत उत्पादन प्रणाली के बारे में विस्तार से जानकारी दी। इसके उपरांत छात्रों ने कंपनी के विभिन्न विभागों का भ्रमण किया। छात्रों ने बहुत ही बारीकी से पॉवर प्लांट के उत्पादन प्रणाली को समझा। स्टूडेंट्स को गुणवत्ता विभाग का भी भ्रमण कराया गया और उनके मानकों के बारे में जानकारी दी गई।
इसी क्रम में उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत निगम लिमिटेड और जल विद्युत उत्पादन करने वाली इकाई रिहंद बांध, सोनभद्र में भ्रमण के दौरान स्टूडेंट्स ने विद्युत उत्पादन से जुड़ी विभिन्न परंपरागत और अत्याधुनिक मशीनोंझ किया।
इंडस्ट्रियल एक्सपोजर को सफल बनाने में ट्रेनिंग एवं प्लेसमेंट विभाग की निशा पांडेय के अलावा सिविल इंजीनियरिंग के विभागाध्यक्ष धर्मेंद्र दुबे, मैकेनिकल के विभागाध्यक्ष राजीव कुमार यादव, इलेक्ट्रिकल विभाग के अध्यक्ष मनु कुमार सिंह आदि ने स्टूडेंट्स का मार्गदर्शन किया।

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