आइए जानते है नायब तहसीलदार हिम्मत बहादुर आखिर निलंबित क्यों किये गए


अयोध्या में निर्माणाधीन राम मंदिर पर विवादित बयान देने वाले गाजीपुर के नायब तहसीलदार पर गाज गिर गई। शासन ने शनिवार देर शाम निलंबित कर दिया। नायब तहसीलदार का राम मंदिर पर दिया गया विवादित बयान सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। बयानबाजी का मामला सामने आते ही डीएम ने नायब तहसीलदार को सेवराई तहसील से हटाकर जिला मुख्यालय से संबंद्ध करने के साथ शासन को रिपोर्ट भी भेजी थी।
शासन के विशेष सचिव माध्यमिक शिक्षा एवं जिले के नोडल अधिकारी निरीक्षण के दौरान कामाख्या धाम मंदिर में दर्शन पूजन के लिए गए थे। उनके साथ सेवराई तहसील में नायब तहसीलदार के पद पर तैनात हिम्मत बहादुर भी गए थे। वहां से लौटने के बाद उन्होंने तहसील परिसर में लोगों के बीच विवादित बयान देते हुए मंदिर में पूजा करने वाले लोगों को बेवकूफ बताया था। साथ ही अयोध्या में बन रहे राम मंदिर को दुकानदारी कहा था। विवादित बयान सोशल मीडिया पर आने के बाद बवाल मच गया था। बड़ी संख्या में लोग ऐसे अधिकारी को निलंबित कर कार्रवाई करने की मांग करने लगे थे।
इस मामले को गंभीरता से लेते हुए डीएम आर्यका अखौरी ने कार्रवाई के लिए शासन को पत्र लिखा था। साथ ही नायब तहसीलदार को जिला मुख्यालय से संबंद्ध कर दिया था।  शासन ने शनिवार देर शाम नायब तहसीलदार हिम्मत बहादुर को निलंबित कर दिया।
चंदौली जनपद से कानूनगो से नायब तहसीलदार के पद पर पदोन्नत होकर सेवराई तहसील में आए हिम्मत बहादुर शुरू से ही विवादों से घिरे रहे हैं। सेवराई तहसीलदार अमित शेखर के आवास का ताला तोड़ने के मामले में एसडीएम के द्वारा प्रशासनिक कार्रवाई की गई थी। जिलाधिकारी आर्यका अखौरी ने बताया कि विवादित बयान देने पर शासन ने नायब तहसीलदार हिम्मत बहादुर को निलंबित कर दिया है।

Comments

Popular posts from this blog

धनंजय सिंह को जौनपुर की जेल से बरेली भेजने की असली कहांनी क्या है,जानिए क्या है असली खेल

धनंजय सिंह को जौनपुर जेल से बरेली जेल भेजा गया

बाहुबली नेता धनंजय सिंह की जमानत याचिका में स्थगन के मुद्दे पर न्यायाधीश की तल्ख टिप्पणी पर जानें क्या निकाले जा रहे है मायने