आइये जानते है चैत के नवरात्रि में मां की कैसे करें पूजन की खुशियाँ घर में आये


चैत्र नवरात्रि को आने में अब कुछ ही समय शेष है। नवरात्रि के दौरान मां दुर्गा के अलग-अलग स्वरूपों की नौ दिन पूजा-अर्चना की जाती है। मां दुर्गा की असीम कृपा पाने के लिए भक्त नौ दिन तक उपवास भी रखते हैं। यूं तो साल में चार नवरात्रि आते हैं। चैत्र और शारदीय नवरात्रि के अलावा दो गुप्त नवरात्रि माघ और आषाढ़ नवरात्रि भी आते हैं। इस साल चैत्र नवरात्रि 13 अप्रैल से शुरू हो रहे हैं और जिनका समापन 22 अप्रैल को होगा। 
नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा के साथ कलश स्थापना भी की जाती है। नवरात्रि के दौरान कलश स्थापना का महत्व शास्त्रों में भी वर्णित है। माना जाता है कि नवरात्रि के दौरान कलश स्थापना से शुभ फलों की प्राप्ति होती है। जान लीजिए कलश स्थापना के लिए शुभ मुहूर्त, पूजा साम्रगी व घटस्थापना विधि-
चैत्र नवरात्रि घटस्थापना के लिए पूजन सामग्री-
चौड़े मुंह वाला मिट्टी का एक बर्तन, कलश, सप्तधान्य (7 प्रकार के अनाज), पवित्र स्थान की मिट्टी, जल (संभव हो तो गंगाजल), कलावा/मौली, आम या अशोक के पत्ते (पल्लव), छिलके/जटा वाला, नारियल, सुपारी, अक्षत (कच्चा साबुत चावल), पुष्प और पुष्पमाला, लाल कपड़ा, मिठाई, सिंदूर, दूर्वा इत्यादि।
नवरात्रि घटस्थापना पूजा विधि-
-सबसे मिट्टी को चौड़े मुंह वाले बर्तन में रखें और उसमें सप्तधान्य बोएं।
-अब उसके ऊपर कलश में जल भरें और उसके ऊपरी भाग (गर्दन) में कलावा बांधें।
-आम या अशोक के पत्तों को कलश के ऊपर रखें।
-नारियल में कलावा लपेटे।
-उसके बाद नारियल को लाल कपड़े में लपेटकर कलश के ऊपर और पत्तों के मध्य रखें।
-घटस्थापना पूरी होने के पश्चात् मां दुर्गा का आह्वान करते हैं।

घटस्थापना का शुभ मुहूर्त-
दिन- मंगलवार
तिथि- 13 अप्रैल 2021
शुभ मुहूर्त- सुबह 05 बजकर 28 मिनट से सुबह 10 बजकर 14 मिनट तक।
अवधि- 04 घंटे 15 मिनट

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