यह मनुष्य शरीर 5 तत्व का पुतला है: पंकज महराज
खुटहन, जौनपुर। जयगुरुदेव धर्म प्रचारक संस्था मथुरा से 23 जुलाई से 122 दिनों का शाकाहार-सदाचार एवं मद्य निषेद्य की अपील करने का संकल्प लेकर निकली हुई जनजागरण यात्रा राष्ट्रीय अध्यक्ष संत पंकज जी महाराज के निर्देशन में कल सायंकाल 111वें दिन अपने पड़ाव पर ग्राम तिघरा पहुंची। भावपूर्ण स्वागत सम्पन्न हुआ।अपने सत्संग सम्बोधन में पूज्य महाराज जी ने कहा कि प्रेमी भाई-बहनों! यह सत्संग है। ‘सत्संग जल जो कोई पावे, मैलाई सब कटि-कटि जावे।’ सत्संग से मन, चित्त, बुद्धि और अंतःकरण की मैल की सफाई होती है। यजुर्वेद, ऋगवेद, सामवेद व अथर्ववेद भी सत्संग में समाहित है। सत्संग में ही जीव जागरण का बोध होता है। सत्संग से ही आत्म कल्याण की प्रेरणा जागती है। सत्संग से ही समाज में यश कीर्ति की प्राप्ति होती है। रामायण राम चरित मानस में भी यह प्रमाण मिलता है कि ‘मति कीरत, गति भूत भलाई, जो जेहि जतन जहां लगि पाई। सोई जानेउ सत्संग प्रभाऊ, लोकहुं वेद न आन उपाऊ। इसलिये आप लोग सत्संग के एक-एक वचन को ध्यान से सुनो। आपका यह शरीर 5 तत्व का पुतला है।महाराज जी ने नशा त्याग करने तथा शाकाहार अपनाने की अपील करते हुये कहा कि पशुओं के बेमेल खून को जब आप अपने खून में मिला लेंगे तो तरह-तरह की बीमारियां होने लगेंगी। अब न आदमी की दवा काम करेगी और न पषुओं की दवा आप हजम कर पाओगे। अन्त में बेसमय मृत्यु निष्चित है। इसलिये आप सब अषुद्ध आहार से बचें और अच्छे समाज के निर्माण के भागीदार बनें। इस अवसर पर ऋषिदेव श्रीवास्तव, बाबूराम यादव, अमृत लाल यादव, मिठाई लाल विश्वकर्मा, अविनाश, सुजीत कुमार, सन्तोश कुमार, सुश्री समिता आदि उपस्थित रहे। जनजागरण यात्रा अगले पड़ाव हेतु ग्राम पकड़ी ब्लाक सोंधी के लिये प्रस्थान कर गई।
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